Trump के नए Tariff आदेश से Global Market में हलचल, जानिए कौन-कौन सी कंपनियों और देशों पर पड़ेगा सबसे बड़ा असर

Saurabh
By Saurabh

अमेरिका के राष्ट्रपति Donald Trump द्वारा जारी नए tariff आदेश ने वैश्विक बाजारों में हलचल मचा दी है, लेकिन निवेशकों की प्रतिक्रिया इस बार अपेक्षा से अलग रही। Trump ने 14 देशों पर अलग-अलग दरों से कड़े शुल्क लगाने की घोषणा की है, जिनमें Japan, South Korea, Malaysia, Kazakhstan पर 25 प्रतिशत, South Africa पर 30 प्रतिशत और Laos तथा Myanmar पर 40 प्रतिशत तक के tariff शामिल हैं। हालांकि, इस आदेश के बावजूद global markets पर इसका गहरा असर देखने को नहीं मिला, क्योंकि निवेशक Trump की रणनीति को समझते हुए इसे ज्यादा गंभीरता से नहीं ले रहे। विशेषज्ञों का मानना है कि Trump की ट्रेड रणनीति ‘escalate-to-de-escalate’ यानी पहले तनाव बढ़ाना और बाद में उसे कम करना बनी हुई है। इस रणनीति के तहत वह अक्सर tariff की धमकी देते हैं, जिससे बाजार में अस्थिरता आती है, लेकिन बाद में इसे संशोधित या वापस भी कर देते हैं। इस वजह से निवेशक अब Trump के आदेशों को अंतिम फैसला नहीं मान रहे। Trump ने जिन देशों को पत्र भेजे हैं, वे अभी तक executive order के रूप में लागू नहीं हुए हैं और tariff लागू होने की अंतिम तारीख 1 अगस्त, 2025 तय की गई है, जो पहले 9 जुलाई थी। इससे भी संकेत मिलता है कि अभी बातचीत के रास्ते खुले हैं और यह अंतिम फैसला नहीं है। इसके अलावा, South Korea, Indonesia, Thailand और Malaysia ने अमेरिका के साथ वार्ता करने की पहल की है और अमेरिका भी इन देशों के साथ बातचीत के लिए तैयार है। वहीं, चीन के सहयोगी Laos, Cambodia और Myanmar पर कड़े tariff लगाए गए हैं, जिनके लिए फिलहाल कोई राहत नहीं दी गई है

Asian बाजारों में इस खबर का असर सीमित रहा। Japan का benchmark index Nikkei 225 और South Korea का Kospi इस खबर को लेकर नकारात्मक नहीं हुए, बल्कि दोनों सूचकांक बढ़त के साथ बंद हुए। MSCI AC Asia Pacific index भी ऊपर बंद हुआ। जबकि अमेरिका के Wall Street पर इसका असर दिखा। Nasdaq Composite, S&P 500 और Dow Jones Industrial Average लगभग 1 प्रतिशत गिर गए। इसका मुख्य कारण imported inflation और ब्याज दरों के लंबे समय तक उच्च बने रहने के डर को माना गया। भारत में, खासकर textile stocks ने इस खबर का स्वागत किया है। Bangladesh पर 35 प्रतिशत tariff लगाने से भारतीय निर्मित वस्त्रों की प्रतिस्पर्धा वैश्विक बाजार में बेहतर हो सकती है। अमेरिका के ready-made garment market में Vietnam का 19 प्रतिशत हिस्सा है, जबकि Bangladesh का 9 प्रतिशत और India का 6 प्रतिशत। अप्रैल में Bangladesh पर 37 प्रतिशत tariff लगाने की घोषणा की गई थी, जो अब थोड़ी कम होकर 35 प्रतिशत हो गई है, लेकिन यह बेस रेट 10 प्रतिशत से काफी अधिक है

अभी भी 1 अगस्त से पहले बातचीत के अवसर बने हुए हैं। Trump के इस आदेश ने वैश्विक व्यापार और आर्थिक राजनीति में नया मोड़ ला दिया है। हालांकि, अभी तक इस आदेश के कारण कोई बड़ा आर्थिक झटका नहीं लगा है, लेकिन यह तय है कि आने वाले महीनों में व्यापारिक तनाव और अस्थिरता बनी रहेगी। विशेषज्ञों का कहना है कि Trump के tariff आदेशों से बाजार में उतार-चढ़ाव तो आएगा, लेकिन वह ज्यादा गंभीर नहीं होगा क्योंकि प्रशासन की नीति में लचीलापन बरकरार है। इस बीच, निवेशकों ने Trump के आदेशों को लेकर जो धारणा बनाई है वह ‘TACO’ यानी “Trump Always Chickens Out” के रूप में जानी जा रही है, जो यह दर्शाती है कि Trump अक्सर बड़े धमकी भरे फैसले लेकर बाद में उन्हें नरम कर देता है। इसीलिए Global investors इस बार भी बड़े कदमों की बजाय संभावित बातचीत और समझौते पर भरोसा बनाए हुए हैं। टेक्सटाइल सेक्टर के लिए यह खबर सकारात्मक है क्योंकि अमेरिकी बाजार में भारतीय वस्त्रों की मांग बढ़ सकती है। वहीं, व्यापार और आर्थिक विशेषज्ञ इस बात पर भी ध्यान दे रहे हैं कि आने वाले समय में भारत और अमेरिका के बीच व्यापारिक समझौते की बातचीत तेज हो सकती है, जिससे दोनों देशों के बीच व्यापारिक रिश्ते और मजबूत हों। अभी यह कहना जल्दबाजी होगी कि Trump के tariff आदेश वैश्विक आर्थिक स्थिति को कितनी गहराई से प्रभावित करेंगे, लेकिन इतना तय है कि कारोबारियों, निवेशकों और सरकारों को इस विषय पर सतर्क रहना होगा। व्यापारिक तनाव के बीच भी Trump प्रशासन ने यह संकेत दिया है कि वह बातचीत और समझौते के लिए तैयार है, जो बाजार के लिए राहत की बात है

अभी के लिए, वैश्विक बाजारों में स्थिरता बनी हुई है और निवेशक Trump के आदेशों को बड़े झटकों से ज्यादा व्यापारिक अवसरों के तौर पर देख रहे हैं। आने वाले महीनों में जब ये tariff लागू होंगे या संशोधित होंगे, तब ही इनके प्रभाव की सही तस्वीर सामने आएगी। फिलहाल, अमेरिकी बाजार के कुछ प्रमुख सूचकांक में गिरावट आई है, लेकिन एशियाई बाजारों ने इस खबर को सकारात्मक रूप में लिया है। इस पूरे घटनाक्रम से यह भी साफ है कि वैश्विक व्यापार और आर्थिक नीतियों में अमेरिका की भूमिका कितनी निर्णायक है और उसके कदमों का सीधा असर विश्वभर के बाजारों पर पड़ता है। 2025 तक व्यापारिक माहौल में कई बदलाव देखने को मिल सकते हैं, लेकिन फिलहाल Trump के नए tariff आदेशों के चलते बाजारों में हल्की अस्थिरता के सिवाय कोई बड़ा संकट नहीं दिखाई दे रहा है

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